दिल्ली में रहने वाली जिगिशा घोष (Jigisha Ghosh), जो एक आईटी अधिकारी के तौर पर काम कर रही थी, उसका मार्च 2009 में वसंत विहार में उसके घर से कुछ ही मीटर की दूरी पर अपहरण कर हत्या कर दी गई थी। वह एक अमेरिकी प्रोजेक्ट के लिए प्रेजेंटेशन खत्म करने के बाद सुबह के समय घर लौट रही थी। जिगिशा घोष की हत्या के मामले का संबंध अब जर्नलिस्ट सौम्या विश्वनाथन (Soumya Vishwanathan) की हत्या से कर रहे है। इस हत्या में आरोपी समान ही थे। दोनों केस में इन महिलाओं को लूट कर उनकी हत्या कर दी गई थी। वही जिगीषा घोष की हत्या पर 14 सालों बाद चर्चाएं होती नजर आ रही है। जान लेते है आखिर जिगिशा घोष और उसकी हत्या का सौम्या विश्वनाथन की हत्या से कैसे है संबंध?
कौन है जिगिशा घोष?
दिल्ली के वसंत विहार इलाके में रहने वाली जिगिशा घोष हेविट एसोसिएट्स के लिए ऑपरेशन मैनेजर के रूप में काम कर रही थी। वह एक आईटी अधिकारी थी और अपने माँ बाप की इकलौती बेटी थी। 18 मार्च 2009 को जिगिशा तड़के घर लौट रही थी और ऑफिस से निकलते हुए उसने अपनी माँ को कॉल करके आने की खबर भी दी थी। साथ ही अपनी माँ सबिता घोष को नाश्ता बनाने के लिए भी कह दिया था।
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कुछ ही वक्त में जिगिशा सीपीडब्ल्यूडी कॉलोनी, वसंत विहार स्थित अपने घर के कुछ दूरी पर बाहर फोन पर बात कर रही थीं। इसी दौरान आरोपी अमित शुक्ला, रवि कपूर और बलजीत मलिक वहा पहुंचे। यह सभी आरोपी नशे में थे, और पता पूछने के बहाने वह जिगिशा के पास आए। बात करते करते तीनों ने जबरन जिगिशा को अपनी सैंट्रो कार में खींच लिया और उसे अपने डेबिट कार्ड का पिन बताने के लिए मजबूर किया। जिसका उपयोग करके उन्होंने महिपालपुर में स्टेट बैंक ऑफ पटियाला के एटीएम से 20,000 रुपये निकाले।
एटीएम से पैसे निकालने के बाद उन्होंने फ़रीदाबाद का रास्ता लिया और रास्ते में जिगिशा की गला घोंटकर हत्या कर दी। इसके बाद उसके शव, बैग और दोनों मोबाईल फोन को सूरजकुंड-फरीदाबाद रोड पर फेंक दिया। इसके बाद हत्यारों ने साकेत में एसबीआई एटीएम से और 5,000 रुपये निकाले और तीनों खरीदारी करने गए। आपको बता दे की, ठीक एक साल पहले हेडलाइंस टुडे की 25 वर्षीय पत्रकार सौम्या की 30 सितंबर 2008 की रात दिल्ली के वसंत विहार में हत्या कर दी गई थी, और ये हत्या भी तभी हुई जब वह दफ्तर से घर जा रही थी। पुलिस को उसका शव उसकी ही कार में मिला था। रिपोर्ट्स के मुताबिक उसे सिर पर गोली मारी गई थी। हालाँकि सौम्या की हत्या 6 महीने पहले हुई थी, लेकिन पुलिस जिगिशा हत्या और डकैती मामले में रवि कपूर, अमित शुक्ला और बलजीत मलिक को गिरफ्तार करने के बाद ही मामले को सुलझाने में सफल रही। यह वही आरोपी है जिन्होंने 6 महीनों बाद फिरसे जिगिशा घोष की हत्या की। आपको बता दे की जिगिशा और सौम्या का परिवार नई दिल्ली में वसंत विहार में एकदूसरे के काफी करीब ही रहते थे।
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जिगिशा घोष मामले में आरोपियों के पास से कई ठोस सबुत मिले, साथ ही CCTV फुटेज की भी मदद हुई, जिसके बाद इन तीनों हत्यारों को पकड़ने में पुलिस कामियाब हुई। इन दोनों घटनाओं के मुख्य आरोपी रवि कपूर, अमित शुक्ला और बलजीत मलिक, जिन्हें 2009 में घोष की हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया था, उन्होंने बाद में 2008 में सौम्या विश्वनाथन की गोली मारकर हत्या करने की बात भी कबूल कर ली। जिगिशा हत्या के मामले में निचले अदालत ने दो आरोपियों को दी मौत की सजा दिल्ली हाई कोर्ट ने उम्रकैद में बदल दी। अब सौम्या विश्वनाथन की हत्या के मामले में दोषियों को 26 अक्टूबर को सजा सुनाई जाएगी।
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